डेंगू नियंत्रण एवं रोकथाम को लेकर जिलाधिकारी डॉ. आशीष चौहान ने जिला कार्यालय स्थित एनआईसी कक्ष में स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों की बैठक ली। जिलाधिकारी ने कोटद्वार, श्रीनगर व जोंक निकायों में किये गये डोर-टू-डोर सर्वे में पाये गये मच्छर के लार्वा वाले स्थानों को सैनिटाइज करवाने के निर्देश दिये हैं।
जिलाधिकारी ने स्पष्ट किया कि आगामी 10-20 दिन लार्वा से मच्छर बनने सम्भावना के दृष्टिगत नगर निकायों व स्वास्थ्य विभाग को अधिक सक्रिय रहने की आवश्यकता है। उन्हांेने बताया कि श्रीनगर में कुल 15000 डोर-टू-डोर सर्वे में 55 हजार कंटेनरों की जांच पड़ताल के उपरान्त 62 जगहों/कंटेनरों में मच्छरों के लार्वा पाये गये हैं। जिलाधिकारी ने कहा कि अबतक डेंगू के 71 मामलें सामने आ चुके हैं जिसमें से डेंगू के 54 मरीजो का उपचार के उपरान्त स्वस्थ्य हो चुके हैं जबकि शेष 17 उपचाराधीन हैं।
बैठक में संयुक्त मजिस्ट्रेट दीपक रामचंद्र सेठ, प्रमुख अधीक्षक डॉ. विजयेश भारद्वाज, अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. रमेश कुवंर, ईओ नगर पालिका पौड़ी गौरव भसीन सहित सम्बन्धित उपजिलाधिकारी व अधिकारीगण वीडियो कांफ्रेंसिंग से जूडे थे।
डेंगू नियंत्रण एवं रोकथाम को लेकर जिलाधिकारी डॉ. आशीष चौहान ने जिला कार्यालय स्थित एनआईसी कक्ष में स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों की बैठक ली। जिलाधिकारी ने कोटद्वार, श्रीनगर व जोंक निकायों में किये गये डोर-टू-डोर सर्वे में पाये गये मच्छर के लार्वा वाले स्थानों को सैनिटाइज करवाने के निर्देश दिये हैं।
जिलाधिकारी ने स्पष्ट किया कि आगामी 10-20 दिन लार्वा से मच्छर बनने सम्भावना के दृष्टिगत नगर निकायों व स्वास्थ्य विभाग को अधिक सक्रिय रहने की आवश्यकता है। उन्हांेने बताया कि श्रीनगर में कुल 15000 डोर-टू-डोर सर्वे में 55 हजार कंटेनरों की जांच पड़ताल के उपरान्त 62 जगहों/कंटेनरों में मच्छरों के लार्वा पाये गये हैं। जिलाधिकारी ने कहा कि अबतक डेंगू के 71 मामलें सामने आ चुके हैं जिसमें से डेंगू के 54 मरीजो का उपचार के उपरान्त स्वस्थ्य हो चुके हैं जबकि शेष 17 उपचाराधीन हैं।
बैठक में संयुक्त मजिस्ट्रेट दीपक रामचंद्र सेठ, प्रमुख अधीक्षक डॉ. विजयेश भारद्वाज, अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. रमेश कुवंर, ईओ नगर पालिका पौड़ी गौरव भसीन सहित सम्बन्धित उपजिलाधिकारी व अधिकारीगण वीडियो कांफ्रेंसिंग से जूडे थे।